दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ शुक्रवार को निर्णायक चौथा टी20 मैच और श्रृंखला जीतने की कोशिश में जुटी भारतीय टीम के लिये रिंकू सिंह का बल्लेबाजी क्रम और खराब फॉर्म चिंता का सबब होगा।
संजू सैमसन और तिलक वर्मा के शतकों के अलावा भारतीय बल्लेबाजों ने प्रभावी प्रदर्शन नहीं किया है।
भारत फिलहाल सीरीज में 2 . 1 से आगे है लेकिन 3 . 1 से जीतने के लिये बल्लेबाजों पर महती जिम्मेदारी होगी।
भारत के लिये वांडरर्स हमेशा से भाग्यशाली रहा है जहां उसने 2007 में पाकिस्तान को हराकर पहला टी20 विश्व कप जीता था। एक साल पहले पिछली टी20 सीरीज में कप्तान सूर्यकुमार यादव ने शतक जमाकर टीम को जीत दिलाई थी।
सूर्यकुमार की कप्तानी में भारत ने 16 में से 13 मैच जीते हैं और इस बार वह श्रृंखला जीतकर लौटना चाहेंगे। पिछली बार श्रृंखला 1 . 1 से ड्रॉ रही थी चूंकि एक मैच बारिश की भेंट हो गया था।
टी20 क्रिकेट के सबसे आक्रामक बल्लेबाजों में शुमार रिंकू सिंह का फॉर्म भी चिंता का सबब है जो पिछले कुछ महीने से अच्छा नहीं खेल पा रहे हैं।
ऐसा लग रहा है कि छठे या सातवें नंबर पर उतरने से वह सहज होकर खेल नहीं पा रहे हैं।
भारत में अगला टी20 विश्व कप 2026 में है और सूर्यकुमार के पास रिंकू में आत्मविश्वास भरकर उनके प्रदर्शन को ढर्रे पर लाने का पूरा समय है। स्पष्टता के अभाव में उनके जैसे हुनरमंद क्रिकेटर को खोने का जोखिम भारतीय टीम नहीं उठा सकती।
मौजूदा श्रृंखला में रिंकू दो मैचों में छठे और एक मैच में सातवें नंबर पर उतरे और 28 रन ही बना सके।
निचले क्रम पर उतरने से 11, 9 या आठरन का स्कोर चिंता का विषय नहीं है लेकिन असल चिंता इस बात की है कि इसके लिये उन्होंने कुल 34 गेंदें खेल डाली। आईपीएल के दौरान भी रिंकू को 15 मैचों में कुल 113 गेंद ही खेलने को मिली थी यानी प्रति मैच 7.5 गेंद।
एक फिनिशर के तौर पर रिंकू को हर पारी में करीब दस ही गेंद मिल सकती है। इससे शायद उनके आत्मविश्वास पर असर पड़ा है क्योंकि उन्हें समझ नहीं आ रहा कि वह आक्रामक खेलें या सहायक की भूमिका में रहें।
रिंकू ने अधिकांश समय पांचवें नंबर पर उतरकर अच्छा प्रदर्शन किया है। लेकिन जब संजू सैमसन सलामी बल्लेबाज के तौर पर और तिलक वर्मा तीसरे नंबर पर उतर रहे हैं तो रिंकू को हार्दिक पंड्या से पहले उतारना कठिन है।
टीम प्रबंधन को इस मसले का तुरंत हल निकालना होगा।
भारत ने अपने 15 में से 12 खिलाड़ियों को पहले तीन मैचों में आजमाया है और अब देखना है कि तेज गेंदबाज यश दयाल या विशाख विजयकुमार को पहला मौका मिलता है या नहीं।
टीमें :
भारत: सूर्यकुमार यादव (कप्तान), अभिषेक शर्मा, संजू सैमसन (विकेटकीपर), रिंकू सिंह, तिलक वर्मा, जितेश शर्मा (विकेटकीपर), हार्दिक पंड्या, अक्षर पटेल, रमनदीप सिंह, वरुण चक्रवर्ती, रवि बिश्नोई, अर्शदीप सिंह, विजयकुमार विशक। आवेश खान, यश दयाल.
दक्षिण अफ्रीका: एडेन मारक्रम (कप्तान), ओटनील बार्टमैन, गेराल्ड कोएत्जी, डोनोवन फरेरा, रीजा हेंड्रिक्स, मार्को जानसन, हेनरिक क्लासेन, पैट्रिक क्रुगर, केशव महाराज, डेविड मिलर, मिहलाली मपोंगवाना, नकाबा पीटर, रयान रिकेलटन, एंडिले सिमलेन,ट्रिस्टन स्टब्स।